Thursday, March 29, 2012

पाँच महायज्ञ: ...... गत ब्लॉग से आगे ......

जो श्राद्ध प्रतिदिन किया जाता है, उसे नित्य श्राद्ध माना गया है! जो पुरुष श्रद्धापूर्वक नित्य श्राद्ध करता है, वह अक्षय लोकका उपभोग करता है! इसी प्रकार कृष्णपक्षमें विधिपूर्वक काम्य श्राद्धका अनुष्ठान करके मनुष्य मनोवांछित फल प्राप्त करता है! आषाढ़की पूर्णिमाके बाद read more

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